भोज राजा का अर्थ
[ bhoj raajaa ]
भोज राजा उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञाउदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- जिनमें डूंगजी जवाहरजी , राजा मोरधज, राजा भोज, राजा
- 836 कन्नौज के भोज राजा का राज्याभिषेक
- 836 कन्नौज के भोज राजा का राज्याभिषेक
- भोज राजा पूछते हैं , “यह नदी इतनी क्यों रोती है?”
- मतलब यह कि भोज राजा के मरते ही अब धारा नगरी का आधार खत्म हो जाएगा।
- रविशजी , जब अस्सी के दशक में गीता पढ़ी तो पाया कि हमारे पूर्वज पहुंचे हुए थे! और उनकी तुलना में 'हम' गिनती में कहीं आते ही नहीं, वैसे ही जैसे कहावत है, “कहाँ राजा भोज और गंगुआ तेली”,,, और 'सिंहासन बत्तीसी' के बारे में पढ़ जाना कैसे स्वयं राजा भोज राजा विक्रमादित्य की तुलना में 'गंगुआ तेली' ही थे!...
- सो उन रानियों को इस छल का कुछ भेद नहीं था जिससे आथा जाता था , परन्तु बोलिया धोबी के छल का भेद पटरानी को मालूम हो गया था कि अपना राजा नहीं है , कि जो और सब रानियों के पास आता-जाता है ; क्योंकि भोज राजा को तो किसी ने छल लिया है , परन्तु जिस तोते के अन्दर राजाभोज अपने जीव को ले गए थे , उस तोते को किसी पातर ने या किसी और जात ने पकड़ लिया था।
- जबके राजाभोज अपनी खोली में आ गए और बोलिया धोबी को बकरे की खोली में देखा जब भोज राजा साहब उस बकरे के पीछे , कि जिसमें बोलिया धोबी जीव को ले गया था उसके पीछे वास्ते मारने को भागे , क्योंकि बोलिया धोबी बकरा होके बाजार में चला गया था जब इन बनियों ने छुड़वा दिया , और कहने लगे कि अन्न दाता इसको अमर करके छोड़ दो और इसको मत मारो , सो इस बात का चर्चा संसार में भी करते हैं सो वोह बात तो तुम सच मानते हो।